पटना (बिहार): बिहार की बहुप्रतीक्षित परियोजना जेपी गंगा पथ (JP Ganga Path) का उद्घाटन हुए अभी मात्र तीन दिन ही हुए हैं, और पुल में दरारें दिखाई देने लगी हैं। करीब ₹3831 करोड़ की लागत से बना यह पुल राज्य की सबसे बड़ी और महंगी परियोजनाओं में से एक है।
तेज आंधी-बारिश के बाद खुली निर्माण की पोल
10 अप्रैल को हुई तेज़ आंधी और बारिश के बाद जब पुल पर ट्रैफिक का दबाव बढ़ा, तो लोगों ने देखा कि पुल की सतह पर दरारें उभरने लगी हैं। ये दरारें पटना से दीघा और गंगा किनारे तक के हिस्सों में खास तौर पर देखी गईं। स्थानीय लोगों और सोशल मीडिया पर सामने आई तस्वीरों ने प्रशासन को भी कटघरे में ला खड़ा किया है।
मुख्यमंत्री ने हाल ही में किया था उद्घाटन
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने हाल ही में इस पुल का उद्घाटन किया था और इसे “पटना का मरीन ड्राइव” बताया था। उद्घाटन के समय इसे ट्रैफिक जाम से राहत और स्मार्ट इंफ्रास्ट्रक्चर की दिशा में एक क्रांतिकारी कदम बताया गया था।
लोगों में आक्रोश, क्वालिटी पर सवाल
इस घटना ने निर्माण गुणवत्ता पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। आम जनता और विपक्षी दलों ने इस पर सरकार से जवाब मांगना शुरू कर दिया है। सोशल मीडिया पर “3831 करोड़ का मज़ाक?” जैसे हैशटैग ट्रेंड कर रहे हैं।
जांच के आदेश संभव
सूत्रों के अनुसार, संबंधित विभाग को तत्काल निरीक्षण करने और तकनीकी टीम भेजने के निर्देश दिए गए हैं। अगर निर्माण में गड़बड़ी पाई जाती है, तो ठेकेदार और इंजीनियरों पर कार्रवाई हो सकती है।
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